यमुना किनारे बंद ट्रांसपोर्ट कंपनी में लगी आग, रहस्यमय तरीके से जला युवक, पहचान अब तक अनजान – tajupdate.in
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यमुना किनारे बंद ट्रांसपोर्ट कंपनी में लगी आग, रहस्यमय तरीके से जला युवक, पहचान अब तक अनजान

आगरा के यमुना किनारा मार्ग पर मौजूद दरेसी नंबर-3 में एक बंद पड़ी ट्रांसपोर्ट कंपनी में लगी आग ने रहस्यमय रूप ले लिया है। 25 नवंबर को कंपनी के कबाड़ में भड़की आग के बाद, दो दिन तक मलबा हटाने के दौरान एक कंकाल बरामद हुआ। युवक की पहचान अब तक नहीं हो सकी है, और पुलिस हर संभव प्रयास कर रही है।

पुलिस ने जानकारी साझा करने के लिए व्हाट्सएप ग्रुप और फेसबुक का सहारा लिया। इसके बावजूद कोई व्यक्ति पहचान करने के लिए आगे नहीं आया है। यह घटना कई सवाल खड़े कर रही है, जिनके जवाब मिलना अब तक मुश्किल साबित हो रहा है।

कब और कैसे हुई यह घटना?

25 नवंबर की रात को यह घटना सामने आई थी। सैंया के निवासी देवेंद्र सिंह गुर्जर की बंद ट्रांसपोर्ट कंपनी के कबाड़ में अचानक आग लग गई। आग इतनी भयानक थी कि आसपास के लोग कुछ भी समझ पाते, उससे पहले ही कबाड़ जलकर खाक हो गया। आग बुझाने के बाद, दो दिन तक मलबा हटाने का काम चला। इसी दौरान, मलबे में एक अधजला कंकाल मिला।

मृतक कौन है?

मृतक की पहचान अब तक एक पहेली बनी हुई है। पुलिस ने स्थानीय इलाकों में पूछताछ शुरू की और यह जानने का प्रयास किया कि क्या कोई व्यक्ति लापता है। इसके अलावा, थानों में दर्ज गुमशुदगी की रिपोर्ट भी जांची गई। हालांकि, किसी भी थाने में इस तरह की गुमशुदगी दर्ज नहीं की गई। पुलिस का मानना है कि मृतक यमुना किनारे के इलाके का हो सकता है।

सोशल मीडिया का सहारा

पुलिस ने मृतक की पहचान के लिए सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल किया। व्हाट्सएप ग्रुप पर जानकारी साझा की गई, और फेसबुक पर भी यह खबर डाली गई। बावजूद इसके, अब तक कोई भी मृतक की पहचान के लिए आगे नहीं आया है।

पुलिस जांच में जुटी

थाना मंटोला के प्रभारी निरीक्षक ने बताया कि घटना की सच्चाई पता लगाने के लिए सीसीटीवी फुटेज खंगाली जा रही है। इलाके में लगे कैमरों को खंगालने का काम जारी है। ट्रांसपोर्ट कंपनी का एक दरवाजा टूटा हुआ पाया गया है, जिससे अंदाजा लगाया जा रहा है कि युवक उसी रास्ते से अंदर आया होगा।

क्या हो सकते हैं कारण?

यह अब भी स्पष्ट नहीं हो सका है कि मृतक ट्रांसपोर्ट कंपनी में कैसे पहुंचा। वह खुद अंदर गया था या किसी ने उसे जबरदस्ती वहां पहुंचाया? यह भी स्पष्ट नहीं है कि आग कैसे लगी। क्या यह दुर्घटना थी या साजिश? इन सवालों के जवाब पुलिस की जांच पर निर्भर करते हैं।

पहचान पर सस्पेंस बरकरार

गुरुवार तक मृतक की पहचान के लिए कोई भी आगे नहीं आया। आग से पहले कंपनी के भीतर क्या हुआ, इसका पता लगाने के लिए जांच तेज कर दी गई है। पुलिस लगातार सीसीटीवी फुटेज और आसपास के लोगों से पूछताछ कर रही है।

क्या कहना है पुलिस का?

पुलिस का कहना है कि सोशल मीडिया पर बार-बार जानकारी साझा की जा रही है, ताकि मृतक की पहचान हो सके। इस घटना ने न केवल इलाके में बल्कि सोशल मीडिया पर भी चर्चा छेड़ दी है।

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